छत्तीसगढ़जांजगीर-चांपा

बाल विवाह मुक्त छत्तीसगढ बनाने हेतु जिला स्तरीय कार्यशाला का आयोजन

जांजगीर-चांपा :- कलेक्टर श्री आकाश छिकारा के निर्देशन में बाल विवाह मुक्त छत्तीसगढ बनाने हेतु एक दिवसीय प्रशिक्षण सह कार्याशाला जिला मुख्यालय स्थित आडिटोरियम में आयोजित किया गया। कार्यशाला में राज्य समन्वयक श्री विपीन ठाकुर द्वारा बाल विवाह रोकथाम के विषय में विस्तृत जानकारी प्रदान करते हुए बाल विवाह से होने वाले दुष्प्रभाव की जानकारी प्रदान की गई। कार्याशाला में उपस्थित समस्त सदस्यों ने बाल विवाह की रोकथाम हेतु शपथ लिया।

जिला कार्यक्रम अधिकारी ने बताया कि कार्यशाला में बाल विवाह की रोकथाम हेतु कानून एवं बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम 2006 की कुल 21 धाराओं के विषय में विस्तार पूर्वक जानकारी प्रदान किया गया। जिसमें बाल विवाह को बढावा देने वाले व्यक्ति, बाल विवाह में शामिल होने वाले घराती एवं बाराती, बाल विवाह कराने वाले पुरोहितों, बाल विवाह के आयोजन के लिए भवन, हॉटल प्रभारी, बैंड प्रभारी, डेकोरेशन प्रभारी, कैटरीन प्रभारी, वाहन प्रभारी एवं अन्य रिश्तेदारों एवं शामिल होेने वाले पडोंसियों पर बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम 2006 के तहत 2 वर्ष की सजा एवं 1 लाख रूपये के जुर्माने या दोनों से दण्डित किये जाने के प्रावधान के विषय में अवगत कराया गया। यदि किसी मामले में बाल विवाह हो चुका है तो उसे अविलंब शून्य कराने के संबंध में व कुछ बाल विवाह उक्त अधिनियम की धारा 13 के तहत स्वयं ही शून्य, असक्त होने के संबंध में जानकारी प्रदान की गई साथ ही बाल विवाह से जन्म लिये बच्चे की वैद्यता, अवैद्यता के संबंध में विस्तृत चर्चा की गई।

इसके साथ ही जिले में बाल विवाह मुक्त भारत के अंतर्गत बाल विवाह के उन्मूलन को प्रोत्साहित करने के लिए हस्ताक्षर अभियान के तहत उपस्थित सभी विभागों के अधिकारियों, कर्मचारियों, बाल कल्याण समिति के अध्यक्ष एवं सदस्यों तथा किशोर न्याय बोर्ड सदस्यों, पर्यवेक्षकों, आ.बा. कार्यकर्ताओं एवं सहायिकाओं, पंडित पुरोहितों, से बाल विवाह मुक्त जांजगीर चाम्पा बनाने हेतु हस्ताक्षर करवाया गया। जिसमें सभी ने उत्साह पूर्वक अपना योगदान दिया।

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